National News / राष्ट्रीय ख़बरे

History 02th July: अंतिम स्वतंत्र नवाब की हत्या के बाद भारत में शुरू हुआ अंग्रेजों का राज, जानें इतिहास


History 02th July:  आज 2 जुलाई है. साल के सातवें महीने का ये दूसरा दिन इतिहास में अपनी एक खास जगह रखता है. दो जुलाई भारत के इतिहास का एक काला दिन है. बंगाल के अंतिम स्वतंत्र नवाब सिराजुद्दौला (Nawab Sirajuddaula) की हत्या के साथ ही उनके शासन की समाप्ति को भारत में ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी (British East India Company) के शासन की नींव माना जाता है. प्लासी की लड़ाई में नवाब की सेना के सेनापति मीर जाफर (Mir Zafar) ने धोखा किया औऱ 23 जून, 1757 को बंगाल (Bengal) की सेना रॉबर्ट क्लाइव के नेतृत्व वाली ईस्ट इंडिया कंपनी की सेना से हार गई.


हार के बाद 02 जुलाई 1757 को नवाब सिराजुद्दौला को पकड़ लिया गया. ईस्ट इंडिया कंपनी के साथ हुए समझौते के मुताबिक, मोहम्मद अली बेग ने नमक हरामी देवड़ी में नवाब की हत्या कर दी. सिराजुद्दौला की हत्या को लेकर ही ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी और मीर जाफर के बीच समझौता हुआ था. नवाब की कब्र पश्चिम बंगाल में मुर्शिदाबाद (Murshidabad) के खुशबाग में स्थित है.


इतिहास का दूसरा अंश सुभाष चंद्र बोस से जुड़ा हुआ है. अंग्रेजों से लड़कर देश को आजाद कराने के समर्थक सुभाष चंद्र बोस (Subhash Chandra Bose) को 2 जुलाई 1940 को ही गिरफ्तार किया गया था. उन पर अंग्रेज शासन (British rule) ने विद्रोह भड़काने का आरोप लगाया था. नेताजी को उनके जीवनकाल में करीब 11 बार गिरफ्तार कर जेल में रखा गया.


बताया जाता है कि 29 नवंबर, 1940 को सुभाष चंद्र बोस ने जेल में अपनी गिरफ्तारी के विरोध में भूख हड़ताल शुरू कर दी थी. एक सप्ताह बाद 5 दिसंबर को गवर्नर जॉन हरबर्ट ने एक एंबुलेंस में बोस को उनके घर भिजवा दिया, ताकि अंग्रेज सरकार पर ये आरोप न लगे कि उनकी जेल में बोस की मौत हुई है. ऐसा कहा जाता है कि सुभाष चंद्र बोस की मृत्यु 18 अगस्त 1945 को ताइवान के एक जापानी अस्पताल में जलने के कारण हुई थी.


इतिहास का तीसरा अंश भारत-पाक (India-Pakistan) मुद्दे से जुड़ा हुआ है. साल 1971 में भारत और पाकिस्तान के बीच हुए युद्ध के बाद दो जुलाई 1972 को शिमला समझौता हुआ था. इस समझौते पर भारत की तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी (Indira Gandhi) और पाकिस्तान के राष्ट्रपति जुल्फिकार अली भुट्टो (Zulfikar Ali Bhutto) ने हस्ताक्षर किए थे.


इसमें तय हुआ था कि दोनों देश आपस में बातचीत के जरिए कश्मीर से जुड़े विवाद सुलझाएंगे. इसमें तीसरी ताकत का दखल बिल्कुल भी नहीं होगा.समझौते में कहा गया था कि दोनों देशों के बीच हालात समान्य होंगे. दोनों के बीच फिर से व्यापार शुरू किए जाएंगे और किसी भी मुद्दे का हल शांतिपूर्ण तरीके से किया जाएगा. समझौते में कश्मीर में नियंत्रण रेखा स्थापित करने की बात कही गई थी. साथ ही कभी भी एक दूसरे देश के सैनिक बल प्रयोग नहीं करेंगे.


जानें 02 जुलाई का इतिहास-
1306: अलाउद्दीन खिलजी ने 2 जुलाई को ही सिवाणा के किले पर हमला किया था. तब उस दुर्ग पर कान्हड़देव के भतीजे चौहान सरदार शीतलदेव का कब्जा था.
1934: भारत के महान क्रांतिकारियों में से एक असित भट्टाचार्य का निधन हुआ था.
1948: प्रसिद्ध जनकवि आलोक धन्वा का जन्म हुआ था.
1950: स्वतंत्रता सेनानी और समाज सुधारक यूसुफ़ मेहरअली का निधन.
1956: तूफ़ानी सरोज का जन्म हुआ था. वह तेरहवीं और पंद्रहवीं लोकसभा के सदस्य चुने गए थे.
1985: आंद्रेई ग्रोमिको को सोवियत संघ का राष्ट्रपति निर्वाचित किया गया था.
2004: भारत और पाकिस्तान के विदेश मंत्री ने जकार्ता में आपसी बातचीत की.
2004: छत्रपति शिवाजी टर्मिनस स्टेशन को यूनेस्को की विश्व धरोहर समिति द्वारा विश्व धरोहर स्थल घोषित किया गया.


Leave a comment

Educations

Sports

Entertainment

Lucknow

Azamgarh