अपने ऊपर केस दर्ज होते ही अलका राय पहुंचीं थाने, मुख्तार के खिलाफ दी तहरीर और....
एम्बुलेंस को लेकर अलका राय पर बाराबंकी में गुरुवार की रात केस दर्ज किया गया था। प्राथमिक जांच में पता चला है कि एम्बुलेंस के रजिस्ट्रेशन के लिए अलका राय के फर्जी वोटर कार्ड का इस्तेमाल किया गया है।
पंजाब की रोपड़ जेल में बंद बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी बुधवार को मोहाली कोर्ट में पेशी के दौरान यूपी नंबर की एम्बुलेंस से आया था। पंजाब में यूपी नंबर की एम्बुलेंस से मुख्तार की पेशी के कारण मामला गहरा गया। जांच शुरू हुई तो कई खुलासा हुए। यूपी के मंत्री ने एम्बुलेंस को बुलेट प्रूफ बताते हुए जांच की बात कही। इसी के साथ बाराबंकी से लेकर मऊ तक की पुलिस फास्ट हो गई। श्याम संजीवनी अस्पताल की संचालिका डॉ. अलका राय ने शुक्रवार को मऊ शहर कोतवाली में मुख्तार अंसारी और अन्य के खिलाफ तहरीर दी। अलका राय ने आरोप लगाया कि पिछले एक दशक से अधिक समय से वह विभिन्न सामाजिक कार्यों में अपनी सहभागिता निभा रही हैं। वह भारतीय जनता पार्टी में भी सक्रिय कार्यकर्ता हैं। इसलिए उनके सामाजिक प्रतिष्ठा को धूमिल करने के लिए राजनीतिक षणयंत्र के तहत गलत तरीके से बाराबंकी में मुकदमा दर्ज करके फंसाया जा रहा है। उन्होंने मुख्यमंत्री से लेकर उच्चाधिकारियों से पूरे मामले की निष्पक्ष जांच करने के साथ ही मुख्तार अंसारी व उनके सहयोगियों तथा उनके प्रतिनिधि के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग की है।
मऊ के ख्वाजाजहांपुर की निवासी डॉ. अलका राय ने बताया कि उन्होंने दिल्ली से मऊ के भीटी चौक पर वर्ष 2002 से प्राइवेट प्रैक्टिस करने के लिए मकान किराए पर लिया था। इससे पहले वह कभी पूर्वांचल के किसी जिले में नहीं रही हैं। विधायक मुख्तार अंसारी के प्रतिनिधि ने कहा गया था कि जनहित में जनता की सेवा हेतु आपके अस्पताल के नाम एम्बुलेंस लेना है। जिस पर डॉ. अलका राय ने कई कागजात पर हस्ताक्षर करवाकर मात्र एक चेक लगभग 15 या 20 हजार का लिया। इस पर उन्होंने मजबूरी और डर के साथ दबाव में जनहित में जनता की सेवा में सहयोग के लिए हस्ताक्षर कर दिया और चेक दे दिया। वर्ष 2015 में एम्बुलेंस को हस्तान्तरण करने के लिए भी हस्ताक्षर कराया गया था।
बाराबंकी से कोई संबंध नहीं
अलका राय ने बताया कि मीडिया से पता चला कि एम्बुलेंस श्याम संजीवनी अस्पताल बाराबंकी के नाम से पंजीकृत है। उस पर मऊ के पते के इस एम्बुलेंस के सम्बंध में उन्हें कोई जानकारी नहीं थी न ही कभी मैंने या मेरे प्रतिनिधि ने किसी भी एम्बुलेंस की जनपद बाराबंकी में पंजीयन कराया था। डॉ. अलका राय ने तहरीर में यह भी कहा है कि अगर उपरोक्त एम्बुलेंस मेरे नाम से पंजीकृत है तो निश्चित ही मेरे साथ आपराधिक षणयंत्र विधायक मुख्तार अंसारी व उनके सहयोगियों ने किया है। मुझे गुमराह करके मेरे साथ धोखा दिया गया है।
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