परिवार और समाज की सुरक्षा के लिए महिलाओं का त्याग आज से नही सदियों पुरानी...
आजमगढ़ के बिलरियागंज व आस पास के क्षेत्रों में महिला अपने परिवार व बच्चे बच्चियों के लिए माता भगवती व अपने डीह व काली को धार दे कर भक्ति गीत गाते हुए सभी की रक्षा करते हुए माता भगवती से सभी की रक्षा की भीख मांगते हुए देखी जा रही है कुछ महिलाओं ने बताया कि यह दैवीय प्रकोप है और सभी लोग धर्म को छोड़ कर अधर्म के मार्ग पर चलने को तैयार हैं और जबकि हमें जिसने पैदा किया हम उसकी पांच मिनट के लिए स्नान कर आराधना जरुर करे साथ में माता पिता बड़े बुजुर्गो को स्थान सम्मान के साथ प्रति दिन प्रमाण जरुर करें ताकि हम लोगों के इस कार्य को देख कर हमारे आने वाली पिढिया भी करतीं रहें। लेकिन यह कार्य को करेगा कौन सभी लोग फेसबुक व वाटसेप पर लगे हुए हैं तो कुछ लोग अपने कर्मों को छोड़ कर गलत कार्यों में लिप्त हो रहें हैं जिसे हमारे ईष्ट देवता भगवान हमारी सभी अच्छाई व बुराई को देख कर अब रौंद रुप धारण कर लिया है जिसे हम मनाने व सभी की रक्षा करने के लिए माता भगवती की जैकारा लगाते हुए बच्चों की रक्षा करने के लिए माता से प्रार्थना करते हुए नौ दिन तक माता के नाम पर कस्बा के सिवान में हम सभी महिलाएं बाजार व आस पास के लोगो की रक्षा करने के लिए माता पिता भाई बहन पति पुत्र पिता माता दोस्त दुस्मन सभी को इस दुख की घड़ी में रक्षा करने के लिए माता भगवती से यह भी मागा गया कि सभी लोगों को मां सद्बुद्धि दे ताकि वह जहां भी है अपने ईष्ट देवता को प्रणाम जरुर करें ताकि इस महामारी से बचा जा सके और लोगों को भी बचाया जा सके और सभी की रोजी-रोटी चलती रहे माता, पिता ,भगवती , ईष्ट देवता सभी की रक्षा करे इसी को देखते हुए हम सभी कस्बे की महिलाएं धार दे रही है और लोगों के सहयोग से कल दिन में डीह के स्थान पर कढ़ाही चढ़ा कर माता भगवती से विनती करेंगे कि हमारे सभी अपने पराये सभी लोग की रक्षा करे और इस महामारी से निजात मिल सके
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