प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक ने शहर कोतवाल पर डॉक्टरों के साथ बदसलूकी का लगाया आरोप
आजमगढ़ । मंडलीय जिला चिकित्सालय में गंभीर हालत में सोमवार की सुबह लाए गए मरीज की इलाज के दौरान मौत हो गई। मरीज की मौत के बाद आक्रोशित मरीज के साथ आए परिजनों ने फार्मासिस्ट व अस्पताल कर्मियों से मारपीट करते हुए तोड़फोड़ करने का भी आरोप डाक्टरों ने लगाया।
कोविड महामारी के चलते चारों तरफ अफरा-तफरी की स्थिति में स्वास्थ्य सुविधा को बहाल रखना बड़ी चुनौती बन गई है। इसी क्रम में सोमवार की सुबह आजमगढ़ के मंडलीय जिला चिकित्सालय में गंभीर हालत में मऊ जिले से लाए गए मरीज की इलाज के दौरान मौत हो गई। इस दौरान मौत से आक्रोशित मरीज के साथ आए परिजनों ने फार्मासिस्ट से मारपीट कर दी और तोड़फोड़ करने का भी आरोप डाक्टरों ने लगाया है। मामले को संज्ञान में लेते हुए जब प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक मंडलीय अस्पताल डॉ. एके सिंह ने डीएम को फोन किया तो डीएम ने शहर कोतवाल केके गुप्ता को अस्पताल में भेजा। लेकिन यहां पुलिस और डॉक्टर में ही झड़प हो गई। प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक का आरोप है कि कोतवाल ने डॉक्टरों के साथ दुर्व्यवहार किया और उनकी रक्षा करने की बजाए उनके साथ बदसलूकी की। प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक ने बताया कि कोतवाल ने साफ कहा कि वह जब चाहे तब कोई सुरक्षा नहीं दे सकते। जिसकी शिकायत डीएम से लेकर सचिवालय तक कर दी गई है।
घटनाक्रम के अनुसार आज दिन में मऊ जनपद के रानीपुर थाना क्षेत्र के निवासी मुखलाल चौहान की हालत बिगड़ने पर उनको परिजन आजमगढ़ के मंडलीय जिला चिकित्सालय ले आए और प्राथमिक उपचार के बाद उनकी कुछ देर बाद ही उनकी मौत हो गई जिसके बाद हंगामा मच गया। डॉक्टरों के अनुसार इस समय भारी संख्या में गंभीर मरीजों का आना जारी है। सभी के इलाज की व्यवस्था की जा रही है। लेकिन कई मरीजों की हालत बिगड़ने के बाद मौत भी हो जा रही है। इसमें डॉक्टरों की कोई गलती नहीं है। डॉक्टर अपनी क्षमता से बढ़कर काम कर रहे हैं। घटना के बाद से डॉक्टरों में आक्रोश है।
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