आधी रात घर में घुसा बाघ, 12 घंटे तक दीवार पर घूमता रहा, दहाड़ से डराया, दहशत के बीच ग्रामीण बनाते रहे वीडियो
पीलीभीत। पीलीभीत टाइगर रिजर्व से सटे इलाकों में बाघ आतंक का पर्याय बने हुए हैं। बाघ आए दिन आबादी तक पहुंच रहे हैं, जिससे इलाके में दहशत व्याप्त है। ताजा मामला कलीनगर तहसील क्षेत्र के गांव अटकौना का है। यहां सोमवार रात करीब एक बजे बाघ किसान सुखविंदर सिंह के घर में घुस गया। देर रात टॉयलेट करने उठे बच्चे की दीवार पर बैठे बाघ पर नजर गई तो परिवार में हड़कंप मच गया। किसान के घर में बाघ घुसने की खबर से ग्रामीणों की नींद उड़ गई। ग्रामीणों ने वन विभाग को सूचना दी। मौके पर लोग एकत्र हो गए। करीब पांच बजे वन विभाग की टीम मौके पर पहुंची। इसके बाद दीवार के चारों ओर जाल लगा दिया गया। मंगलवार सुबह होते ही आसपास गांव के लोग मौके पर पहुंच गए। बाघ को देखने के लिए सैकड़ों लोगों की भीड़ जुट गई। बाघ बार-बार दहाड़ रहा था। किसानों ने बताया कि 12 घंटे बाद वन विभाग की टीम ट्रेंकुलाइज करने के बाद उसे पकड़ सकी। इस दौरान मौके पर सैकड़ों लोगों की भीड़ मौजूद रही। भीड़ को रोकने के लिए एसओ अचल कुमार फोर्स के साथ मौके पर मौजूद रहे। किसान का कहना था कि वन विभाग के आला अफसर सुबह 10 बजे तक मौके पर नहीं पहुंचे थे। इस पर ग्रामीणों ने रोष जताया। ग्रामीणों ने कहा कि यह पहला मौका नहीं है, जब बाघ आबादी के निकट आया है। इससे पहले भी कई बार बाघ गांव के नजदीक आ चुका है।
पूरनपुर क्षेत्र में हरीपुर जंगल से निकले बाघ ने गांव बंजरिया के समीप खेतों में चर रही एक भैंस और गांव बिनौरा के समीप छुट्टा घूम रही गाय को मार डाला। जटपुरा के समीप एक ईंट-भट्ठे के समीप बाघ के पगचिह्न मिलने पर आसपास के लोगों में खलबली है। रविवार को जंगल से निकले बाघ ने गांव बंजरिया के समीप खेत में चर रही भैंस को मार डाला। अधखाया भैंस का शव मिलने की सूचना हरीपुर रेंज के कर्मचारियों को दी गई। इसके अलावा रविवार शाम को गांव बिनौरा के समीप खेत में घूम रही छुट्टा गाय को बाघ ने मार डाला। खेत में अधखाया शव मिलने पर लोगों ने इसकी सूचना वन विभाग के कर्मचारियों को दी। रविवार रात को बाघ गांव जटपुरा के समीप एक ईंट-भट्ठे के समीप घूमता देखा गया। सोमवार सुबह ईंट-भट्ठा परिसर में बाघ के पगचिह्न देखे गए। तीनों स्थानों पर पहुंची हरीपुर की टीम को बाघ के पगचिह्न मिले। हरीपुर रेंजर वीरेंद्र सिंह रावत ने बताया कि भैंस और गाय के मारने की सूचना नहीं है। हालांकि तीनों स्थानों पर कर्मचारियों को बाघ के पगचिह्न मिले हैं। गांव बंजरिया और जटपुरा के समीप अक्सर बाघ चहलकदमी करता है। लोगों को सतर्क रहने को कहा गया है।
Leave a comment