मार्च से दौड़ने लगेंगी दोहरीघाट-इंदारा के बीच ट्रेन, मुंबई जाने के लिए गोरखपुर आने की जरूरत नहीं
गोरखपुर। दोहरीघाट से इंदारा के बीच मार्च से ट्रेनें दौड़ने लगेंगी। 35 किमी लंबे इस रेलखंड पर अमान परिवर्तन का काम अब अंतिम चरण में है। फरवरी में मुख्य संरक्षा आयुक्त (सीआरएस) के निरीक्षण का कार्यक्रम प्रस्तावित है। इस रूट पर एक्सप्रेस व पैसेंजर ट्रेनों के चलने से गोरखपुर दक्षिणांचल के लोग रेल सेवा से जुड़ जाएंगे और मऊ, गाजीपुर, वाराणसी का सफर आसान हो जाएगा। वर्ष 2016-17 में रेल मंत्रालय ने 213 करोड़ की लागत से हो रहे आमान परिवर्तन को स्वीकृति दी थी। इस रेलखंड पर ट्रेनें 110 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से ट्रेनें चलेंगी।
योजना के मुताबिक दो बड़े पुल बनाए गए हैं और 23 छोटे पुल तैयार किए जा रहे हैं। ग्रामीणों के आवागमन के लिए 12 सब- वे बनाए जाएंगे। इसका भी कार्य अंतिम दौर में है। रेलखंड पर अमान परिवर्तन बनने के बाद पैसेंजर व एक्सप्रेस ट्रेनें चलाई जाएंगी। इससे जहां यात्रियों को सहूलियत होगी, वहीं पार्सल की ढुलाई भी आसान हो जाएगी। अभी लोगों को ट्रेन के लिए गोरखपुर आना पड़ता है।
पूर्वोत्तर रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी पंकज कुमार सिंह ने कहा कि पूर्वोत्तर रेलवे प्रगति के पथ पर अग्रसर है, लगभग 90 प्रतिशत रूट बड़ी लाइन में परिवर्तित हो गया है। शेष रेलमार्गों पर भी गेज परिवर्तन का कार्य प्रगति पर है। इसी क्रम में इंदारा-दोहरीघाट के गेज परिवर्तन का कार्य अंतिम चरण में है जो कि अगले माह तक पूर्ण हो जाएगा, इसके फलस्वरूप वाराणसी मंडल पूर्ण रूप से ब्रॉडगेज एवं विद्युतीकृत होने वाला पूर्वोत्तर रेलवे का पहला मंडल बन जाएगा।
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