आधार कार्ड नही होने पर,राशन और पेंशन से वंचित हो रहे नागरिक, आखिर क्या.....
आधार कार्ड एक बेहद ही महत्वपूर्ण दस्तावेज में से एक है। यूनिक आइडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया (यूआईडीएआई) द्वारा जारी होने वाले आधार कार्ड में एक यूजर की डेमोग्राफिक और बॉयोमेट्रिक जानकारियां दर्ज होती हैं। यूआईडीएआई के पास आपके जाति, धर्म, शिक्षा, परिवार, बैंक अकाउंट, शेयर म्युचुअल फंड, प्रॉपर्टी और हेल्थ से जुड़ा कोई डाटा नहीं होता।
आधार कार्ड का इस्तेमाल कई सरकारी योजनाओं का लाभ लेने के लिए किया जाता है। इनके अलावा ऐसे और भी कई काम हैं जिनके लिए आधार की मांग की जाती है।
अक्सर लोगों के मन में आधार को लेकर कई तरह के सवाल होते हैं। ऐसा ही एक सवाल यह है कि क्या आधार कार्ड न होने पर किसी गरीब को पेंशन और राशन जैसी जरूरी मूलभूत सुविधाओं से वंचित किया जा सकता है आजकल इसी वजह से लोग सरकार की इस तानाशाही, से परेशान है, उन्हें यूआईडीएआई से कोई मतलब नहीं है, बस लोग यही जानते है कि पहले, आधार कार्ड जनसेवा वाले बनाते थे, जो शुल्क के रूप में, 25-50 रुपये लेते थे तो कोई दिक्कत नही थी,पर सरकार द्वारा इसे पोस्ट ऑफिस और, बैंक के सुपुर्द कर दी जिससे आज एक आधार कार्ड बनवाने के लिए, 500 से 700 रुपये ले रहे हैं जिसे लेकर लोगों में सरकार के ऊपर जबरदस्त आक्रोश व्याप्त है,
यूआईडीएआई के मुताबिक अगर किसी के पास आधार कार्ड नहीं है तो उसे पेंशन और राशन जैसी जरूरी सुविधाओं से वंचित नहीं किया जा सकता। ऐसी परिस्थिति में आधार के बदले अन्य सरकारी दस्तावेजों के जरिए उसकी पहचान का सत्यापन किया जा सकता है। अगर किसी विभाग में आपको आधार की कमी की वजह से किसी सेवा से वंचित किया जाए तो आप इसकी शिकायत यूनिक आइडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया से कर सकते हैं ।।
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