सिपाही को असलहों के बट से पीटते हुए सीसीटीवी में कैद हुई वीडियो, गहना कोठी व्यवसायी के दबंग युवकों की करतूत आई सामने
जौनपुर - नगर के अपने आपमें प्रतिष्ठित स्वर्ण व्यवसायी कहलाने वाले विनीत सेठ के बड़े भाई मोनू सेठ एवं उनके सुरक्षा कर्मियों द्वारा रविवार की रात्रि सैलून में घुसकर एक पुलिस कर्मी राजकुमार सिंह रघुवंशी को बेरहमी से असलहें के बट से पीटने के प्रकरण में लाइनबाजार थाना पुलिस द्वारा नगर कोतवाली अंतर्गत क्षेत्र रासमण्डल स्थित विनीत सेठ के घर भारी संख्या में पहुँची पुलिस फोर्स पर गहना कोठी व्यवसायी द्वारा आरोप लगाया गया की जिले की पुलिस द्वारा उनके आवास पर तांडव किया जा रहा है और एक सभ्रांत व्यवसायी को बेज्जत किया जा जिसका वीडियो फेसबुक द्वारा खुद मोनू सेठ वायरल कर जिले के पत्रकारों से अपने आपको व परिवार को बचाने की गुहार लगा रहे थे, जिसके बाद उक्त घटना की जानकारी होने के बाद जिले के स्वर्ण व्यवसायी सहित नेतागण भारी संख्या में लाइनबाजार थाना जुट गए थे, जिस घटना की हकीकत सुबह होते ही सीसीटीवी में कैद वीडियो खुद बया कर रही हैं कि जिले की पुलिस गुंडागर्दी कर रही थी की स्वर्ण व्यवसायी गहना कोठी के मालिक मोनू सेठ व उनके निजी सुरक्षा कर्मियों ने एक निहत्ते व अकेले पुलिस कर्मी पर असलहें व लाठी डंडे से बेरहमी से वार कर मारपीट रहे थे, जिसकी सच्चाई समाने आने के बाद लाइनबाजार थाने पर पीड़ित सिपाही राजकुमार सिंह रघुवंशी की तहरीर पर गहना कोठी व्यवसायी विवेक सेठ उर्फ मोनू, विपीन सेठ, हर्षित सेठ, आयुष सेठ सहित दस अज्ञात लोगों पर गंभीर धाराओं में अपराध संख्या 59/22 धारा 147,148, 323 504 506 347 व 307 आईपीसी के तहत मुकदमा पंजीकृत कर पुलिस कार्यवाही में जुटी हैं अभी तक गहना कोठी व्यवसायी के दो लोगों को पुलिस ने हिरासत में ले रखा है।
वही बीती रात सिपाही के साथ हुई घटना के सम्बन्ध में लाइनबाजार पुलिस द्वारा गहना कोठी व्यवसायी के कुछ लोगों को थाने लाया गया था जिसके बाद पुलिस पर आरोप भी लगाया गया कि पुलिसिया तांडव किया गया, जिसकी सूचना पर बीती रात ही मंत्री एवं पूर्व विधायक थाने तक पहुँच गए यह तक जानने की चेष्टा नहीं किए कि मामले की हकीकत क्या है लेकिन बुद्धिजीवी गज़ब के हैं, सवाल यह उठता है की सिपाही बदतमीज है या नहीं इसका फैसला विभाग करेगा, सिपाही अनुशासन में है या नहीं ये भी विभाग का जिम्मा है, लेकिन जरा स्वर्ण व्यवसाई की करतूत देख लीजिए विवाद जो भी हुआ हो, लेकिन आप कौन होते हैं कानून को हाथ में लेने वाले पुलिस वालों ने कैमरे नोच दिए तो उसका वीडियो मार्केट में फैला कर सहानभूति बटोर रहे हैं अब जरा ये वीडियो भी देख लीजिए की कारण जो भी रहा हो विवाद का आपको इसकी सूचना पुलिस विभाग के आलाधिकारी से करना चाहिए था न की खुद गुडंई व दबंगई करते हुए कानून अपने हाथ में लेना चाहिए था, आप कोई कोर्ट नहीं हैं जो फैसला करेंगे।
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